बैजबॉल के बाद इंग्लैंड की टीम ने फील्डिंग में भी नया अवतार निकाला है। उस्मान ख्वाजा को आउट करने के लिए सेट की गई बेन स्टोक्स की अनोखी फील्डिंग को 'बुम्ब्रेला' का नाम दिया गया है। हालांकि, इंग्लिश टेस्ट कप्तान का यह दांव एकदम फिट बैठा था और फील्डर्स की ऐसी सजावट देकर पूरा कंगारू खेमा भौचक्का रह गया था। आइए आपको विस्तार से समझाते हैं कि कहां से निकला बुम्ब्रेला नाम और कैसे उस्मान ख्वाजा हुए बेन स्टोक्स के मास्टर प्लान के शिकार।

क्यों सजाई गई बुम्ब्रेला फील्डिंग?

दरअसल, उस्मान ख्वाजा पहले दिन शानदार बैटिंग करने के बाद टेस्ट के दूसरे दिन भी सेट दिख रहे थे। ख्वाजा के खिलाफ ना तो जेम्स एंडरसन की स्विंग काम आ रही थी और ना ही स्टुअर्ट ब्रॉड की गेंदें उनको परेशान कर रही थी। ओली रोबिन्सन और मोईन अली मिलकर भी कंगारू बैटर का बाल भी बांका नहीं कर पा रहे थे। ऐसे में कप्तान बेन स्टोक्स ने कंगारू बैटर को पवेलियन भेजने के लिए मास्टर प्लान तैयार किया।

ऐसे जाल में फंस गए उस्मान ख्वाजा

बेन स्टोक्स ने ओली रोबिन्सन के साथ मिलकर प्लान तैयार किया। ऑन साइड पर तीन और ऑफ साइड पर भी इतने ही फील्डर्स को खड़ा कर दिया गया। बेन स्टोक्स की सोच साफ थी कि ख्वाजा पर मानसिक रूप से दबाव बनाना था और उनको गलती करने के लिए मजबूर करना था। दरअसल, सामने लगे छह फील्डर्स ने रन बनाने का रास्ता पूरी तरह से ब्लॉक कर दिया था।

जो गलती स्टोक्स ख्वाजा से करवाना चाहते थे वो कंगारू बैटर ने कर भी दी। ख्वाजा पर सामने दिख रहे छह फील्डर्स का प्रेशर साफतौर पर नजर आया और उन्होंने ओली रोबिन्सन को गेंद को आगे बढ़कर खेलने का प्रयास किया। रोबिन्सन और स्टोक्स यही अपने प्लान में सफल हो गए और ख्वाजा का ऑफ स्टंप बाहर आ गया।

कहां से आया बुम्ब्रेला नाम?

दरअसल, साल 1981 से लेकर 2001 तक एजबेस्टन के मैदान को जिस तज से ढका जाता था, उसको बुम्ब्रेला कहा जाता था। इसी वजह से स्टोक्स की इस अनोखे फील्डिंग सेटअप को बुम्ब्रेला नाम दिया गया। स्टोक्स के इस दांव के फैन रिकी पोंटिंग भी हुए और उन्होंने कहा कि एक विकेट लेने के लिए कप्तान क्या कर सकता है, उसका यह सबसे बड़ा उदाहरण है।